धर्म गुरुओं ने श्रीलंका बम धमाकों की एक स्वर में निंदा की

April 26, 2019

 

जयपुर 25 अप्रैल 2019: हाल ही में श्रीलंका हुए बम धमाकों की विभिन्न धर्मों के धर्म गुरुओं ने कड़ी निंदा की है। आज धार्मिक जन-मोर्चा की राजस्थान इकाई की ओर से आयोजित एक प्रेस काॅन्फ्रेन्स में एकत्रित धर्म गुरु प्रेस से रूबरू हुए। आर्य समाज से सत्यव्रत सामवेदी, गायत्री शक्ति पीठ से रामराय शर्मा, ईसाई समाज से फादर शिबू और फादर विजय पाल सिंह, बोद्ध धर्म से भिक्खू कश्यप आनन्द, जमाअते इस्लामी हिन्द के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष डा. सलीम इन्जीनियर, एफ.डी.सी.ए. राजस्थान के प्रदेशाध्यक्ष सवाई सिंह ने प्रेस वार्ता को सम्बोधित किया। सिख समाज से सरदार सतवंत सिंह और जैन समाज से जी.एल. नाहर अस्वस्थ होने के कारण उपस्थित नहीं हो सके परन्तु उन्होंने अपना संदेश भेजा।

 

श्रीलंका में हुए बम धमाकों में 321 निरपराध लोगों की जानें चली गईं, सैंकड़ों लोग घायल हो गए। “डा. सलीम इन्जीनियर ने कहा कि इस घटना का किसी धर्म से सम्बन्ध नहीं है क्योंकि धर्म नफ़रत नहीं सिखाता, धर्म लोगों को आपस में जोड़ता है ताड़ता नहीं, जो इन्सान को इन्सान से दूर करे वह धर्म नहीं हो सकता। उन्होंने कहा कि हिंसा करने वाले कोई भी हों उन्हें बेनक़ाब किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि कुछ दिनों पहले न्यूज़ीलेंड में भी इसी प्रकार की घटना हुई थी, दोनों ही निंदनीय हैं”। श्री सत्यव्रत सामवेदी ने घटना की निन्दा करते हुए इस घटना को अन्जाम देने वाले मानवता के दुश्मन हैं। उन्होंने कहा कि हमारे देश में अहिंसा को सर्वोपरि स्थान प्राप्त है अतः हम हिंसा को किसी प्रकार भी उचित नहीं ठहरा सकते। फादर शिबू ने कहा कि यह घटना ऐसे समय में घटित हुई है जब लोग यीशू मसीह के मृतकों में से जीवित हो उठने की ख़ुशी मना रहे थे। हम ईसाई समुदाय की ओर से मृतकों के प्रति संवेदना प्रकट करते हैं। बोद्ध भिक्खू कश्यप आनन्द ने कहा कि पशुता तो पशुओं में होती है परन्तु यदि मानवों में पशुता आ जाए तो इससे बड़ी विडम्बना नहीं हो सकती। फादर विजय पाल सिंह ने कहा कि इस घटना से सभी भारतवासी दुःखी हैं और श्रीलंका वासियों के प्रति संवेदना प्रकट करते हैं। श्री सवाई सिंह ने कहा कि दुनिया में भौतिक विकास हो और आंतरिक विकास न हो और मनुष्यता मर जाए तो ऐसा विकास व्यर्थ है। उन्होंने कहा कि हमें देखना होगा कि इस प्रकार की घटनाओं से किसका लाभ है, वही इन घटनाओं के पीछे हैं। श्री राम राय शर्मा ने कहा कि श्रीलंका की घटना से हम सभी दुःखी हैं और प्रार्थना करते हैं कि मरने वालों की आत्मा को शान्ति मिले और जिन्होंने यह घटना की है उन्हें सद्बुद्धि मिले।

 

सभी धर्म गुरुओं ने दुःख की इस घड़ी में श्रीलंका वासियों के प्रति हार्दिक संवेदना और एक जुटता प्रकट की तथा मृतकों के लिए दिल की गहराइयों से शोक व्यक्त किया और जिन्होंने अपने प्रियजनों को खोया है उनके लिए धैर्य की प्रार्थना की। सभी ने एक स्वर से मानवता के विरुद्ध हुए इस जघन्य अपराध की कड़ी निंदा करते हुए श्रीलंका सरकार से मांग की कि वह इस घटना की निष्पक्ष जाँच कराए और दोषी चाहे कोई भी हों उन्हें कड़ी से कड़ी सज़ा दें। जल्दबाज़ी में कोई निर्णय ले कर किसी समुदाय को निशाना न बनाया जाए बल्कि इसके पीछे के वास्तविक अपराधियों की खोज कर उन्हें क़ानून के दायरे में लाया जाए। इसके साथ ही हिंसा के कारणों को खोज कर उन्हें समाप्त करने का भी प्रयास सरकार और समाज मिल कर करें।

 

 

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